रविवार, 29 जून 2025
आरोग्य मेला : बिना जांच किए ही इलाज की खानापूर्ति जमानियां। रविवार को आयोजित होने वाले मुख्यमंत्री की प्राथमिकता में शामिल जन आरोग्य मेले का आयोजन नगर कस्बा स्थित प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में खानापूर्ति तक ही सीमित रह गया। शासन की ओर से भले ही स्थानीय स्तर पर मरीजों की जांच व चिकित्सकों से इलाज का दावा किया जा रहा हो। लेकिन आरोग्य मेले की जमीनी हकीकत दावे से बिल्कुल इतर है। ज्यादातर पीएचसी पर जांच की सुविधा नहींं मिलती है। केंद्र प्रभारी भी मुख्यमंत्री आरोग्य मेला में नहीं मिलते। मेले में डाक्टरों की गैर जिम्मेदारी के वजह से उचित इलाज न मिलने के कारण मरीजों का भी मोहभंग हो गया है। सिर्फ खानापूर्ति के लिए केंद्र में 10 से 12 मरीजों का उपचार किया जाता है। बता दें कि रविवार को प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर मुख्यमंत्री जन आरोग्य मेले का आयोजन किया गया। जिसकी जमीनी हकीकत दिखाई गई। केंद्र में नहीं जांच की व्यवस्था और ना ही चिकित्सक ड्यूटी पर तैनात पाए जाते है। जिसके चलते इलाज के लिए पहुंचने वाले मरीजों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।पीएचसी में डाक्टर देवेंद्र प्रसाद के द्वारा मरीजों का इलाज कर रहे थे। लगभग 12 मरीजों का नाम दर्ज था। इसमें ज्यादातर मरीज सर्दी खांसी, बुखार व पेट दर्द के थे। उन्होंने बताया कि प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र प्रभारी चिकित्सक डाक्टर गुलाब शंकर पटेल रोज की तरह रविवार को भी मुख्यमंत्री आरोग्य मेला से अनुपस्थित रहे। ज्यादा मरीज बिना इलाज कराए वगैर वापस लौटने को मजबूर हुए। केंद्र में सन्नाटा पसरा रहा। डाक्टरों में घोर उदासीनता के कारण मुख्यमंत्री आरोग्य मेला की बैनर मौके से गायब मिला। डॉक्टर देवेंद्र प्रसाद ने बताया कि आरोग्य मेले में आने वाले अधिकांश मरीज मौसम जनित बीमारी से पीड़ित थे। आरोग्य मेला में स्वास्थ्य कर्मियों के स्थान पर मात्र 10,12 मरीजों का इलाज किया गया। उक्त मौके पर स्वास्थ्य कर्मी मोहित कुमार आदि स्वास्थ्य कर्मी रहे। सलीम मंसूरी की रिपोर्ट
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